इंडिया टुडे का खुलासा: ईवीएम ‘व्हिसलब्लोअर’ का दावा, वह मशीनों को हैक कर सकता है किसी पार्टी के पक्ष में
मुख्य बिंदु:
- दावे का जांच: इंडिया टुडे की टीम ने कथित साइबर विशेषज्ञ सैयद शुजा से संपर्क किया, जिन्होंने ईवीएम को हैक कर चुनावों में हेरफेर करने का दावा किया।
- हैकिंग का तरीका: शुजा का दावा है कि वह अमेरिकी रक्षा विभाग की तकनीक का उपयोग कर ईवीएम को हैक कर सकते हैं।
- संबंधित अधिकारी और विशेषज्ञों का खंडन: चुनाव आयोग और ईसीआईएल ने शुजा के दावों को असत्य करार दिया, जिसमें कहा गया कि ईवीएम हैक-प्रूफ हैं।
पूरी खबर:
इंडिया टुडे की विशेष जांच टीम ने, महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों से ठीक पहले, एक वीडियो कॉल के माध्यम से स्वयंभू साइबर विशेषज्ञ सैयद शुजा से संपर्क किया। शुजा ने पहले भी ईवीएम हैक कर चुनावों में धांधली के कई दावे किए हैं, जिसमें 2014 के लोकसभा चुनावों में बीजेपी के पक्ष में वोटिंग मशीनों में हेरफेर करने का आरोप शामिल है। शुजा ने दावा किया कि वह अमेरिकी रक्षा विभाग की तकनीक का उपयोग कर ईवीएम हैक कर सकते हैं और विपक्षी गठबंधन महा विकास अघाड़ी (एमवीए) को जीत दिलाने में मदद कर सकते हैं।
हालांकि, शुजा के दावे विशेषज्ञों और चुनाव आयोग के अनुसार तकनीकी आधारहीन पाए गए। ईसीआईएल ने स्पष्ट किया कि शुजा उनके लिए कभी काम नहीं करते थे और उनके पास ईवीएम के डिज़ाइन और विकास में किसी प्रकार की भूमिका नहीं थी। चुनाव आयोग ने भी शुजा के दावों को अस्वीकार करते हुए उनके खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज कराई।
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शुजा ने 2019 में लंदन में आयोजित एक प्रेस कांफ्रेंस के दौरान दावा किया था कि 2014 के लोकसभा चुनावों में बीजेपी के पक्ष में धांधली की गई थी और बीजेपी नेता गोपीनाथ मुंडे की हत्या कर दी गई थी क्योंकि उन्हें इस हैकिंग के बारे में जानकारी थी। उनके इन आरोपों को विशेषज्ञों द्वारा आधारहीन और अविश्वसनीय पाया गया।